माफिया विनोद उपाध्याय का एनकाउंटर यूपी एसटीएफ की टीम ने गुरुवार रात को कर दिया। सुबह घायल अवस्था में उसे अस्पताल लेकर पहुंचे, जहां टीम ने मृत बता दिया। विनोद उपाध्याय एक लाख रूपये का इनामी था। विभिन्न जिलों में कुल 35 मुकदमें दर्ज थे। गोरखपुर के मूल निवासी और एसटीएफ डीएसपी दीपक सिंह की टीम के साथ ये विनोद की मुठभेड़ सुल्तानपुर में हुई थी। बताया जा रहा कि भागते वक्त उसके पास एक पिस्टल और स्टेनगन भी थी, जिससे वो हमलाकर भागने की फिराक में था। इसी दौरान एसटीएफ की गोली से घायल हो गया।
बताया जा रहा है कि बृहस्पतिवार की रात सुल्तानपुर में एसटीफ और माफिया के बीच मुठभेड़ शुरू हो गई, जिसमें पुलिस की जवाबी कार्रवाई में माफिया ढेर हो गया। पुलिस को उसकी जमीन कब्जाने, हत्या और हत्या के प्रयास समेत कई मामलों में तलाश थी।
दरअसल, 2004 में गोरखपुर जेल में बंद रहने के दौरान नेपाल के अपराधी जीत नारायण मिश्र ने विनोद को एक थप्पड़ मारा था। जिसके बाद 7 अगस्त 2005 को संतकबीरनगर में विनोद ने जीत नारायण की हत्या कर थप्पड़ का बदला लिया था। इस घटनाक्रम में जीत नारायण और उसका बहनोई गोरेलाल भी मारा गया था।